24 News Update उदयपुर। श्रावण मास की श्रद्धा और शिवभक्ति से ओतप्रोत माहौल में इस बार उदयपुरवासियों को एक विशेष आध्यात्मिक अनुभव मिलेगा। 3 अगस्त 2025, रविवार को फतेहसागर स्थित फतहबालाजी मंदिर से भव्य द्वितीय विशाल कांवड़ यात्रा का आयोजन किया जाएगा, जिसमें श्रद्धालु 1200 वर्ष पुराने पालड़ी महादेव (वामेश्वर महादेव) शिवलिंग का जलाभिषेक करेंगे।
प्राचीनता और आस्था का केंद्र है वामेश्वर महादेव
यह ऐतिहासिक व स्वयंभू शिवलिंग उदयपुर शहर के समीप ईसवाल रोड पर बड़गांव के आगे पालड़ी गांव में स्थित है। वामेश्वर महादेव मंदिर न केवल धार्मिक, बल्कि ऐतिहासिक दृष्टि से भी महत्वपूर्ण है। ऐसा माना जाता है कि यह स्थल महाराणा प्रताप के विश्राम स्थल के रूप में भी प्रसिद्ध रहा है। बड़गांव, चिकलवास, पालड़ी, लोयरा, कटारा, कविता सहित आसपास के गांवों के लोग इसे अपने आराध्य देव के रूप में पूजते हैं। जन्माष्टमी पर यहां विशाल मेला भरता है और हजारों श्रद्धालु दर्शन करने आते हैं।
कांवड़ यात्रा की भव्य तैयारियां प्रारंभ
वामेश्वर महादेव मित्र संघ के तत्वावधान में आयोजित होने वाली इस द्वितीय कांवड़ यात्रा की तैयारियां जोर-शोर से चल रही हैं। यात्रा मार्ग में स्थित 11 शिवालयों में भी कांवड़िये जल अर्पण करेंगे और समस्त क्षेत्र की सुख-शांति की कामना करेंगे।
इस आयोजन हेतु एक महत्वपूर्ण बैठक मंदिर परिसर में सकल समाज की उपस्थिति में आयोजित की गई। इसमें यात्रा मार्ग, व्यवस्था और भावी योजनाओं पर चर्चा हुई। यात्रा को भविष्य में और अधिक भव्य बनाने एवं इसकी निरंतरता बनाए रखने का संकल्प भी लिया गया।
संयोजक मंडल का गठन
बैठक में वामेश्वर महादेव मित्र संघ द्वारा यात्रा के संयोजक एवं सह-संयोजकों की घोषणा की गई। साथ ही सभी ग्रामों एवं समितियों का सक्रिय सहयोग सुनिश्चित किया गया।
बैठक में मौजूद रहे यह प्रमुखजन:
प्रफुल्ल जी श्रीमाली, राजेंद्र सिंह जी राणा, विजय सिंह जी, खेम सिंह जी, सोहन जी लोहार, गोपाल जी सुथार, हेमंत जी नागदा, शक्ति सिंह जी राणा, हितेश जी पालीवाल, देवेंद्र जी जोशी, प्रकाश जी, पं. पवन जी आमेटा, महंत श्री प्रेमनाथ जी, गोवर्धन सिंह जी, शक्ति सिंह जी, कमलेश जी, राजकुमार जी सेन, संजय जी नागदा, नरेश जी शर्मा, पुष्कर जी जोशी सहित अनेक श्रद्धालु एवं कार्यकर्ता उपस्थित रहे।
3 अगस्त को फतेहसागर फतहबालाजी से निकलेगी द्वितीय विशाल कांवड़ यात्रा, 1200 वर्ष प्राचीन पालड़ी महादेव शिवलिंग का होगा अभिषेक, महाराणा प्रताप का विश्राम स्थल भी रहा है यह वामेश्वर महादेव मंदिर

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