24 न्यूज अपडेट. चित्तौड़गढ़। वन विभाग की टीम ने चित्तौड़गढ़ में 5 टन छिली हुई खैर की लकड़ियों से भरा एक ट्रक जब्त किया। लकड़ियों की कीमत लगभग 5 से 6 लाख रुपए की बताई जा रही है। पुलिस ने बताया कि खैर की लकड़ियों से भरा एक ट्रक पकड़ा है। टीम को देखकर गाड़ी चित्तौड़गढ़ की ओर आरोपी भगा कर ले जा रहे थे। टीम को पीछे आता हुआ देख कर ड्राइवर नरधारी के पास गाड़ी छोड़कर भाग निकले। पीछा कर रही वन विभाग की टीम ने लकड़ियों सहित ट्रक को अपने कब्जे में ले लिया। लकड़ियों की कीमत लगभग 5 से 6 लाख रुपए की बताई जा रही है। माना जा रहा है कि यह लकड़ियां जंगल से अवैध रूप से काटी गई है और इन्हें बाहर बेचने के उद्देश्य से लेकर जाया जा रहा है। आरोपी ड्राइवर की तलाश भी शुरू कर दी है। निंबाहेड़ा के रेंजर राजेंद्र चैधरी ने बताया कि डीएफओ विजय शंकर पांडेय के निर्देश पर मंगलवाड़-चित्तौड़गढ़ हाइवे पर वन विभाग की टीम गश्त पर थी। इस दौरान डूंगला से मंगलवाड़ की ओर एक जयपुर पासिंग ट्रक आता हुआ दिखाई दिया। शक होने पर ट्रक को रोकने का इशारा किया। लेकिन ड्राइवर ने गाड़ी की स्पीड बढ़ाते हुए चित्तौड़गढ़ की तरफ भाग निकला। रेंजर चैधरी ने बताया कि हमारी पूरी टीम ने ट्रक का पीछा किया। ट्रक ड्राइवर ने पीछे टीम को आते देख गाड़ी को नरधारी में टाटा मोटर्स सर्विस सेंटर के पास ही छोड़कर भाग निकला। वन विभाग की टीम जब पहुंची तो ड्राइवर नहीं मिला। तलाशी लेने गए तो उसमें पीछे तिरपाल लगा हुआ था। तिरपाल हटा कर देखा तो उसमें लगभग 5 टन छिली हुई खैर की लकड़ियां मिली। लकड़ियों की कीमत लगभग 5 से 6 लाख रुपए की बताई जा रही है। टीम ने ट्रक और लकड़ियों को अपने कब्जे में ले लिया है। कार्रवाई करने वाली टीम में क्षेत्रीय वन अधिकारी निंबाहेड़ा राजेंद्र चैधरी सहायक वनपाल लेखराज खटीक, उदयलाल गुर्जर, श्रवण राम, जोगाराम, रामचंद्र तेली शामिल थे।
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