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उदयपुर मार्बल प्रोसेसर्स समिति चुनाव, सुराणा अध्यक्ष, पटेल महासचिव सहित संपूर्ण कार्यकारिणी निर्विरोध निर्वाचित, मार्बल पर खुली आयत नीति को बंद करने के साथ ही नया औद्योगिक क्षेत्र विकसित करने का लिया संकल्प

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उदयपुर। उदयपुर मार्बल प्रोसेसर्स समिति वर्ष 2024-25 कार्यकारिणी चुनाव सम्पन्न हुए जिसमे अध्यक्ष पद हेतु लगातार दूसरी बार युवा उद्यमी कपिल सुराणा व महासचिव पद हेतु डॉ हितेष पटेल को निर्विरोध चुना गया।
उदयपुर मार्बल प्रोसेसर्स समिति कि सम्पन्न हुई वार्षिक साधारण सभा में कपिल सुराणा की कार्यकुशलता एवं मार्बल व्यवसाय के हर क्षेत्र में दिए गए सहयोग को देखते हुए सर्वसम्मति से दूसरी बार अध्यक्ष पद पर निर्विरोध चुना गया एवं साथ ही महासचिव पद हेतु डॉ हितेष पटेल सहित समिति कि पूरी कार्यकारिणी निर्विरोध निर्वाचित घोषित किया गया। पूर्व में भी सुराणा समिति में कई समय तक वरिष्ठ उपाध्यक्ष, महासचिव आदि पद पर रहते हुए समिति के महत्वपूर्ण कार्यों में सहयोगी रहे हैं।
चुनाव अधिकारी एवं उदयपुर चैम्बर ऑफ़ कॉमर्स के पूर्व अध्यक्ष महेन्द्र कुमार टाया ने बताया कि समिति की नव गठित कार्यकारिणी में कपिल सुराणा अध्यक्ष, प्रदीप बाबेल वरिष्ठ उपाध्यक्ष, विनोद कुमार रांदेड उपाध्यक्ष, हितेष पटेल महासचिव, ऋषि कटारिया संयुक्त सचिव, रमेश जैन कोषाध्यक्ष, प्रवीण कोठारी, आनंद पटवा, कपिल पोद्दार, विकास पोरवाल, आशुतोष सिसोदिया, पवन जैन निर्विरोध कार्यकारिणी सदस्य निर्वाचित हुए।
इससे पहले उदयपुर मार्बल प्रोसेसर्स समिति की वार्षिक साधारण सभा बैठक में महासचिव डॉ हितेष पटेल द्वारा वर्ष 23-24 में समिति द्वारा किये गए मुख्य कार्यो का संक्षिप्त विवरण प्रस्तुत किया वही निवर्तमान अध्यक्ष राजेश खमेसरा और पूर्व अध्यक्ष विजय गोधा ने नव निर्वाचित अध्यक्ष कपिल सुराणा का उपरना ओढ़ा कर स्वागत किया।
चुनाव सम्पन्न होने के पश्चात नव निर्वाचित अध्यक्ष कपिल सुराणा ने सभी उद्योगपतियों का हार्दिक धन्यवाद देते हुए अपने पहले अध्यक्षीय संबोधन में कहा की सबसे पहले अपना अस्तित्व खो रही मार्बल मंडी को पुन: अपनी स्थिति में लाने का महत्वपूर्ण कार्य हम जैसे युवाओं के कंधों पर है। हमें दिन और रात कड़ी मेहनत करते हुए उदयपुर मार्बल मंडी को पुन: अपनी नई पहचान दिलानी है। सरकार द्वारा पहले मार्बल को जीएसटी में 18त्न की श्रेणी में रखा गया फिर मार्बल पर खुली आयात नीति लागू की गई, यह भारतीय मार्बल पर कुठाराघात किया गया है इसका पुर जोर विरोध करते हुए मार्बल पर खुली आयात नीति को फिर से बंद करवाना होगा, अन्यथा भारत का मार्बल विश्व में लुप्त हो जाएगा। जिसका उदाहरण स्वयं राजसमंद और केसरिया जी क्षेत्र की माइन्स है। सुराणा ने मार्बल प्रोसेसिंग के दौरान निकलने वाली स्लरी के पुन: उपयोग हेतु अथक प्रयास कर टीपी पास समिति को दिलवाया है जिससे डंपिंग यार पर जमा अनुपयोगी मार्बल स्लरी पुन: उपयोग हेतु बाहर भेजी जाएगी। सुराणा ने कहा की उदयपुर शहर को विश्व मानचित्र पर मार्बल सिटी के रूप में भी पहचान दिलानी है। उदयपुर में आने वाले पर्यटकों को मार्बल मंडी तक खींच कर लायेंगे जिससे मार्बल व्यापार में हम और अधिक सफलता प्राप्त करेंगे।
समिति के नव निर्वाचित महासचिव एवं युवा उद्योगपति डॉ हितेष पटेल ने समिति सदस्यो का आव्हान करते हुए कहा की हमे मार्बल मंडी का विकास एवं विस्तार करना होगा, नया औद्योगिक क्षेत्र बनाना होगा जिससे आने वाली नई पीढ़ी जो अपना भविष्य इस व्यवसाय में तलाश रही है उनके लिए एक धरातल विकसित हो सके। आज हमने हजारो करोड़ रुपयों का निवेश कर रखा है और भी निवेशकों की इच्छा है इस व्यवसाय में अपना हुनर दिखाने का लेकिन यह तभी संभव हो सकेगा जब हमारे पास पर्याप्त जमीन सहित संसाधन उपलब्ध होंगे। उदयपुर के व्यापारी यहां से अपना व्यापार समेट कर राजसमंद, किशनगढ़, दक्षिणी भारत की ओर विस्थापित हो रहे हैं, इस विस्थापन को रोकना होगा।
कार्यक्रम में समिति के वरिष्ठ सदस्य मांगीलाल लुणावत, पूर्व अध्यक्ष विजय गोधा, मुकेश मोदी, पंकज गंगावत, महेंद्र सुराणा, परमेश्वर अग्रवाल, मुकेश काबरा, प्रवीण कटारिया आदि उदयपुर के प्रमुख मार्बल उद्योगपति उपस्थित रहे।
इसलिए महत्वपूर्ण है उदयपुर मार्बल मंडी।
उदयपुर मार्बल मंडी संपूर्ण विश्व में अपना एक अलग स्थान रखती है। दशकों से मंडी ने विश्व में सबसे ज्यादा मार्बल निर्यात करने का कीर्तिमान स्थापित किया है। यूरोप, अमेरिका एवं खाड़ी देशों में निर्यात होने वाला ग्रीन मार्बल उदयपुर से ही निर्यात किया जाता है। वर्तमान में कई बड़े प्रोजेक्ट उदयपुर में तैयार होकर भेजे जा रहे हैं। संसद भवन से लगाकर राम मंदिर खाड़ी देशों की सभी बड़ी बिल्डिंगों में उदयपुर में तैयार मार्बल उपयोग में लिया गया है।

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