24 News Update उदयपुर। सावन के पहले सोमवार को भगवान महाकालेश्वर मंदिर भक्ति और आस्था से सराबोर नजर आया। तड़के से ही श्रद्धालुओं की भारी भीड़ जुट गई। हर-हर महादेव और बम-बम भोले के जयकारों के बीच भगवान आशुतोष के विग्रह स्वरूप ने रजत पालकी में सवार होकर मंदिर परिसर में भव्य भ्रमण किया।
भोर से शुरू हुआ जलाभिषेक और विशेष पूजन
सुबह होते ही भक्तों का तांता लगना शुरू हो गया। श्रद्धालुओं ने गर्भगृह के बाहर से जलाभिषेक किया। इसके बाद वैदिक मंत्रोच्चार के साथ लघुरुद्र पाठ द्वारा भगवान का अभिषेक हुआ। पार्थिव शिवलिंग की पूजा और अनुष्ठान भी पूरे दिन चलते रहे।
रजत पालकी में भगवान आशुतोष का श्रृंगार और भ्रमण
सुबह 11:15 बजे भगवान को अर्द्धनारीश्वर स्वरूप का श्रृंगार धराया गया। इसके बाद विग्रह स्वरूप को रजत पालकी में विराजित कर पूजा-अर्चना की गई। दोपहर ठीक 12:15 बजे आरती के साथ पालकी भ्रमण शुरू हुआ। सबसे पहले पालकी को गर्भगृह में विराजित भगवान महाकालेश्वर के सम्मुख ले जाकर झुलाया गया। फिर मंदिर परिसर में जयकारों के बीच भ्रमण हुआ। भक्तों के उत्साह का आलम ये था कि ढोल-नगाड़ों की धुन पर महिलाएं भक्तिभाव में झूमकर नृत्य कर रही थीं। वहीं चारों ओर हर-हर महादेव के नारे गूंज रहे थे।
सरकारी स्तर पर हुआ रुद्राभिषेक
सुबह 10 बजे प्रदेश सरकार की ओर से सहायक आयुक्त देवस्थान विभाग जतीन गांधी की अगुवाई में रुद्राभिषेक संपन्न हुआ। इसमें विभाग के अधिकारी और कर्मचारी भी सावन के पहले सोमवार को ही 4 अगस्त को निकलने वाली शाही सवारी का पोस्टर भी जारी किया गया। पोस्टर विमोचन के साथ ही तैयारियों ने जोर पकड़ लिया। प्रन्यास अध्यक्ष तेजसिंह सरूपरिया और सचिव चन्द्रशेखर दाधीच की उपस्थिति में श्रद्धालुओं ने पोस्टर का स्वागत किया। अब शहरभर में जगह-जगह पोस्टर लगाए जाएंगे और ऑटो रिक्शा पर भी यात्रा का प्रचार किया जाएगा।
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