24 News Update उदयपुर/नाथद्वारा: तेरापंथ धर्मसंघ के एकादशम अधिशास्ता आचार्य महाश्रमण अपनी धवल वाहिनी के साथ मेवाड़ में अहिंसा, नैतिकता और सद्भावना का संदेश फैलाते हुए विहार यात्रा पर हैं। 29 नवम्बर को प्रातः ओडन से विहार करके आचार्य महाश्रमण नाथद्वारा पहुंचे, जहां स्थानीय श्रद्धालुओं और गणमान्य व्यक्तियों ने उनका गर्मजोशी से स्वागत किया।
इस अवसर पर धर्मसभा में आचार्य महाश्रमण ने उपस्थित जन समुदाय को समय प्रबंधन के महत्व पर जोर देते हुए फरमाया कि “एक बार बीता समय पुनः वापस नहीं आता। रोज़ के 24 घंटे का सही प्रबंधन करके ही व्यक्ति धर्म और सद्गुण के लिए समय निकाल सकता है। समय का सदुपयोग ही सुखी जीवन की कुंजी है।”
सभा में मुख्य अतिथि राजस्थान विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री सी.पी. जोशी ने आचार्य महाश्रमण का स्वागत करते हुए उनके संदेशों को जीवन में अपनाने का आव्हान किया। स्वागत अभिनंदन तेरापंथी सभा नाथद्वारा अध्यक्ष विश्वजीत कर्णावट और मंत्री चंद्र सिंह कोठारी द्वारा किया गया। इस अवसर पर राजस्थान वित्त आयोग अध्यक्ष अरुण चतुर्वेदी ने भी आचार्य महाश्रमण के दर्शन कर आशीर्वाद लिया और सामाजिक-आध्यात्मिक विषयों पर चर्चा की। साथ ही, राजकुमार फत्तावत, किशनलाल डागलिया, प्रमोद सामर सहित अन्य गणमान्य व्यक्तियों ने आचार्य महाश्रमण का अभिनंदन किया। सभा में नाथद्वारा ज्ञानशाला के बच्चों और तेरापंथ महिला मंडल की बहिनों ने सांस्कृतिक प्रस्तुतियाँ दीं, जबकि साधना मेहता, मंजू सामोता और सुधा तलेसरा ने भावपूर्ण अभिव्यक्ति पेश की। अंत में उपस्थित जन समुदाय को मंगल पाठ का श्रवण करवाया गया। आचार्य महाश्रमण का विहार 30 नवम्बर को कांकरोली, 1 दिसंबर को राजनगर, और 2 दिसंबर को केलवा में होगा।
“समय का सदुपयोग ही सुखी जीवन की कुंजी”: आचार्य महाश्रमण ने नाथद्वारा में दी अमृतदेशना

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