आयड़ तीर्थ में चातुर्मास के दौरान होंगे कई धार्मिक अनुष्ठान
अ_म आराधना, समवसरण तप-20 उपवास और 20 बियासणा तप 11 जुलाई से
24 News Update उदयपुर। तपागच्छ की उद्गम स्थली आयड़ जैन मंदिर में जैन श्वेताम्बर महासभा के तत्वाधान में कच्छवागड़ देशोद्धारक अध्यात्मयोगी आचार्य श्रीमद विजय कला पूर्ण सूरीश्वर महाराज के शिष्य गच्छाधिपति आचार्य श्रीमद विजय कल्पतरु सुरीश्वर महाराज के आज्ञावर्तिनी वात्सलयवारिधि जीतप्रज्ञा महाराज की शिष्या गुरुअंतेवासिनी साध्वी जयदर्शिता महाराज आदि ठाणा का चातुर्मास आयड़ तीर्थ में सम्पन्न होगा।
महासभा के महामंत्री कुलदीप नाहर ने बताया कि शनिवार 28 जून को साध्वी संघ का धूलकोट मंदिर से सुबह 7 बजे गाजे-बाजे के साथ आयड़ जैन मंदिर में चातुर्मासिक मंगल प्रवेश होगा। जगह-जगह स्वागत द्वार एवं गउली बनाकर स्वागत किया जाएगा। चातुर्मासिक प्रवेश के बाद संघवी अर्जुनलाल ट्रस्ट, देवाली की ओर से नवकारसी का आयोजन किया जाएगा।
नाहर ने बताया कि चातुर्मास में आत्मोथान करने वाले तप आदि आराधना अनुष्ठान सम्पादित होंगे जिसमें जगत मंगलकारक सांकली अ_म और सांकली आयम्बिल, संस्कार शिक्षा देने वाले बच्चो के रविवारीय शिविर, समाधान – समता बढऩे वाले बहनों का शिविर, आत्माभिमुख कराने वाले रविवारीय अनुष्ठान, तन मन का संताप हरने वाले तपोनुष्ठान, उपकारी गुरु देव की स्वर्गरोहण तिथि उजवणी, नरक निवारण नवकार नवलाख जाप अनुष्ठान एवं विविध प्रकार के ज्ञान वर्धन के साथ गेम्स एवं शिविर, नेमिनाथ भगवान जन्मकल्याणक हेतु अ_म आराधना, समवसरण तप-20 उपवास और 20 बियासणा, तप शुभारंभ 11 जुलाई से होगा।
उपाध्यक्ष भोपाल सिंह परमार ने बताया कि चातुर्मास के आयोजन को लेकर विभिन्न समितियों का गठन किया गया। जिसमें संयोजक अशोक जैन व प्रकाश नागौरी, सह संयोजक भोपाल सिंह नाहर व राजेंद्र जवेरिया, आवास एवं भोजन सतीश कच्छारा व चतर सिंह पामेचा को जिम्मेदारी दी गई।
साध्वी जयदर्शिता संघ का आयड़ तीर्थ में चातुर्मासिक मंगल प्रवेश 28 को

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