Site icon 24 News Update

अब कॉल पर नहीं सुनाई देगी अमिताभ बच्चन की चेतावनी, सरकार ने साइबर क्राइम वाली कॉलर ट्यून बंद की

Advertisements

24 News Update नई दिल्ली। “कोई भी अनजान व्यक्ति अगर आपके बैंक खाते, OTP, KYC या अन्य निजी जानकारी मांगे, तो उसे बिल्कुल न दें…”—हर कॉल की शुरुआत में अमिताभ बच्चन की यह आवाज अब नहीं सुनाई देगी। केंद्र सरकार ने साइबर फ्रॉड के प्रति लोगों को सतर्क करने के लिए सितंबर 2024 में शुरू की गई यह कॉलर ट्यून अब पूरी तरह बंद कर दी है। हालांकि, इस पहल को शुरुआत में काफी सराहा गया था, लेकिन बाद में लोगों की शिकायतें बढ़ती गईं। खासकर इमरजेंसी कॉल्स के समय यह 40 सेकंड लंबा संदेश बाधा बनता था।

इमरजेंसी कॉल्स में हो रही थी परेशानी
अमिताभ बच्चन की आवाज में रिकॉर्ड यह कॉलर ट्यून केंद्रीय गृह मंत्रालय के अधीन इंडियन साइबर क्राइम कोऑर्डिनेशन सेंटर (I4C) द्वारा शुरू की गई थी। उद्देश्य था—लोगों को फर्जी कॉल्स, OTP शेयर करने और लिंक पर क्लिक करने से होने वाले साइबर फ्रॉड से जागरूक करना।
लेकिन जैसे-जैसे समय बीतता गया, लोगों ने इसे बोझिल और समय की बर्बादी बताना शुरू कर दिया। सोशल मीडिया पर इसे लेकर नाराजगी देखने को मिली और कुछ यूजर्स ने RTI दाखिल कर इसके औचित्य पर सवाल भी उठाए।

केंद्रीय मंत्री ने भी जताई नाराजगी
इंदौर दौरे के दौरान केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने भी कहा, “मैं खुद इस कॉलर ट्यून से परेशान हो गया हूं।” सरकार ने पहले इस कॉलर ट्यून की फ्रीक्वेंसी को दिन में 8-10 बार से घटाकर दो बार किया और इमरजेंसी सेवाओं (जैसे 112, 108) के लिए इसे हटाया गया। अब इसे पूरी तरह बंद कर दिया गया है। 23 जून को अमिताभ बच्चन ने अपने X (पूर्व ट्विटर) अकाउंट पर एक पोस्ट में लिखा—“जी हां, हिजूर मैं भी प्रशंसक हूं।” बाद में उन्होंने ‘हिजूर’ को ‘हुजूर’ में सुधारते हुए माफी मांगी। इस पर एक यूजर ने तंज कसते हुए कहा, “तो कॉल पर बोलना बंद करो भाई।” इस पर बिग बी ने जवाब दिया—“सरकार को बोलो भाई, उन्होंने हमसे कहा सो किया।” यह पहली बार नहीं है जब अमिताभ बच्चन की कॉलर ट्यून विवादों में रही हो। कोविड महामारी के दौरान भी उनकी आवाज में मास्क पहनने और सोशल डिस्टेंसिंग की सलाह देने वाली कॉलर ट्यून चलाई गई थी, जिस पर तब भी विरोध हुआ था।

क्यों लगाई जाती हैं कॉलर ट्यून?
सरकार कॉलर ट्यून को एक असरदार माध्यम मानती है, खासकर उन क्षेत्रों में जहां इंटरनेट और टीवी की पहुंच सीमित है। मोबाइल फोन के जरिए बड़ी संख्या में लोगों तक कोई संदेश पहुँचाना तुलनात्मक रूप से आसान होता है। लेकिन जब एक ही संदेश बार-बार और लंबा हो जाए, तो वह झुंझलाहट का कारण बन जाता है, जैसा कि इन मामलों में देखा गया। हालांकि कॉलर ट्यून अब बंद हो गई है, लेकिन साइबर अपराध का खतरा कम नहीं हुआ है। सरकार ने नागरिकों को सजग रहने की सलाह दी है। अगर कोई साइबर ठगी का शिकार होता है तो तुरंत हेल्पलाइन 1930 पर कॉल करें या cybercrime.gov.in पर ऑनलाइन शिकायत दर्ज करें।

Exit mobile version