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उदयपुर में ‘राष्ट्रीय सुरक्षा में युवाओं की भूमिका’ पर प्रेरक व्याख्यान, BSF DIG योगेन्द्र सिंह राठौड़ ने कहा—“दृढ़ संकल्प हो तो विफलता रास्ता नहीं रोक सकती”

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24 News Update उदयपुर। महाराणा प्रताप कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, उदयपुर के राजस्थान कृषि महाविद्यालय में शनिवार को “राष्ट्रीय सुरक्षा में युवाओं की भूमिका” विषयक विशेष व्याख्यान का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का नेतृत्व महाविद्यालय और इसके पूर्व छात्र परिषद् ने संयुक्त रूप से किया।
समारोह के मुख्य वक्ता एवं मुख्य अतिथि योगेन्द्र सिंह राठौड़, उप महानिरीक्षक, सीमा सुरक्षा बल (भुज, गुजरात) रहे। कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि के रूप में डॉ. लाल सिंह सारगंदेवोत (सम्मानित प्राध्यापक, कैलिफोर्निया, यूएसए), बी.ए. महाजन (निदेशक, सतत कृषि संस्थान, नई दिल्ली) तथा प्रेम सिंह शक्तावत (पूर्व पार्षद व पूर्व छात्र परिषद् सदस्य) उपस्थित थे।

“मेहनत, निष्ठा और समयबद्धता जीवन की सबसे बड़ी पूंजी”—DIG राठौड़
DIG राठौड़ ने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि जीवन में कई बार विफलताओं का सामना करना पड़ता है, लेकिन
“जो व्यक्ति दृढ़ निश्चय के साथ आगे बढ़ता है, उसे मंजिल पाने से कोई नहीं रोक सकता।”
उन्होंने अपने छात्र जीवन के अनुभव साझा करते हुए कहा कि
“यदि किसी भी कार्य को समर्पण, ईमानदारी और अनुशासन के साथ किया जाए, तो वातावरण स्वयं आगे बढ़ने में सहायक बन जाता है।”

कृषि में युवाओं के लिए अपार संभावनाएँ
विशिष्ट अतिथि डॉ. एल.एस. सारगंदेवोत और बी.ए. महाजन ने कहा कि कृषि क्षेत्र में आज नवाचार, स्टार्टअप और आधुनिक तकनीक के कारण युवाओं के लिए असीमित अवसर उपलब्ध हैं।
उन्होंने छात्रों को यूरोप और अमेरिका में उच्च अध्ययन व अनुसंधान के अवसर तलाशने के लिए प्रेरित किया और हर संभव सहयोग का आश्वासन दिया।

वीरों के पराक्रम से सीखने की जरूरत—विधायक फूलसिंह मीणा
उदयपुर ग्रामीण विधायक फूलसिंह मीणा ने अपने संबोधन में DIG राठौड़ द्वारा
ऑपरेशन सिंदूर और कारगिल युद्ध के दौरान दिखाए गए शौर्य की प्रशंसा की।
उन्होंने युवाओं से राष्ट्रसेवा की भावना के साथ आगे बढ़ने का आह्वान किया।

“महाविद्यालय का गौरव”—भाजपा जिलाध्यक्ष
उदयपुर शहर भाजपा जिलाध्यक्ष गजपाल सिंह राठौड़ ने कहा कि
“राजस्थान कृषि महाविद्यालय का पूर्व छात्र होने के साथ-साथ BSF में उच्च पद पर सेवा देना पूरे मेवाड़ और संस्था के लिए गौरव की बात है।”

उल्लेखनीय उपस्थिति
कार्यक्रम में अधिष्ठाता एवं परिषद् के मुख्य संरक्षक डॉ. मनोज कुमार महला,
सचिव डॉ. जे.एल. चौधरी,
तथा कई वरिष्ठ संकाय सदस्य—
डॉ. एस.एस. लखावत, डॉ. अमित दाधिच, डॉ. एस.के. खण्डेलवाल,
डॉ. विरेन्द्र सिंह, डॉ. डीपीएस डूडी,
डॉ. सिद्धार्थ मिश्रा, डॉ. जी.एल. मीना,
डॉ. हरि सिंह और डॉ. लतिका शर्मा मौजूद रहे।
कार्यक्रम का संचालन डॉ. उर्मिला ने किया और धन्यवाद ज्ञापन डॉ. दीपांकर चक्रवर्ती ने किया।

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